नई दिल्ली: तीन वर्षीय एक लड़की की मौत हो गई और दो महिलाएं घायल हो गईं भेड़िया हमला में बहराइचउत्तर प्रदेश में व्यापक रोष फैल रहा है स्थानीय लोगों जिन्होंने प्रशासन पर लापरवाही का आरोप लगाया। यह हमला चल रहे ‘ऑपरेशन भेड़िया‘,’ इलाके में उत्पात मचा रहे भेड़ियों को पकड़ने की पहल है। ताजा घटना सोमवार को सुबह करीब 3.35 बजे हुई, जिससे इन जानवरों को पकड़ने की जरूरत और बढ़ गई है।
के अनुसार महासी सिविल स्वास्थ्य केंद्र इस घटना में तीन साल की एक बच्ची की मौत हो गई तथा दो महिलाएं घायल हो गईं। भेड़िया आक्रमण करना।
डीएफओ बहराइच अजीत प्रताप सिंह थलिया गांव में मौजूद हैं और हमले के लिए जिम्मेदार भेड़िये को खोजने के लिए सक्रिय रूप से तलाशी अभियान चला रहे हैं।
मृतक बच्ची की मां ने इस दर्दनाक घटना को याद करते हुए बताया, “यह घटना सुबह 3:35 बजे की है। जब मेरी 6 महीने की बच्ची आधी रात को उठी तो मैंने देखा कि मेरी बेटी घर पर नहीं है। मेरी बच्ची के दोनों हाथ भेड़िये ने काट लिए हैं। हम दिनभर मजदूरी करके बच्चों का पालन-पोषण करते हैं। हम उसके पीछे भागे लेकिन वह भाग गया। हम गरीब हैं इसलिए घर में दरवाजे नहीं लगवा पा रहे हैं।”
एक अन्य पड़ोसी ने वन विभाग को सचेत करने के अपने बार-बार के लेकिन निरर्थक प्रयासों के बारे में बताया। “हम जाग रहे थे। जब वह (भेड़िया) पहली बार हमारे घर आया, तो हमने सोचा कि यह कोई कुत्ता है, इसलिए हमने चिल्लाकर उसे भगा दिया। बाद में, मैंने देखा कि वह खेत की ओर भाग गया, इसलिए मैंने चिल्लाकर पूछा कि क्या किसी का बच्चा गायब है। तब उन्होंने कहा कि उनकी बेटी गायब है। हमने परसों ही खेत में उसे घेर लिया और जब हमने वन विभाग को फोन कियाउन्होंने कहा, “हमसे वीडियो मांगा गया। हमें वीडियो कहां से मिला? हम बार-बार शिकायत कर रहे हैं कि हमने भेड़िया देखा है। जब तक हम मोबाइल निकालते हैं, वह गायब हो जाता है।”
बहराइच की डीएम मोनिका रानी ने भेड़िये को पकड़ने में अधिकारियों के सामने आ रही चुनौतियों का जिक्र किया। उन्होंने कहा, “इस अभियान में सबसे बड़ी समस्या यह है कि हर बार एक नया गांव चुना जा रहा है। भेड़िया हर 5-6 दिन में अपनी गतिविधि बदल देता है। वन विभाग अपनी तरफ से पूरी कोशिश कर रहा है।”
थलिया गांव के एक स्थानीय व्यक्ति ने सबूत उपलब्ध कराने के बावजूद कार्रवाई न होने पर निराशा व्यक्त की। उन्होंने कहा, “वे कह रहे हैं कि हम ड्रोन के ज़रिए निगरानी कर रहे हैं। हमने वीडियो बनाया है लेकिन प्रशासन बस बैठा हुआ है।”
एक अन्य स्थानीय व्यक्ति ने प्रशासन पर देरी से प्रतिक्रिया करने और अपर्याप्त सुरक्षा उपायों का आरोप लगाया। जिला मजिस्ट्रेट मोनिका रानी ने लोगों से घर के अंदर रहने और सतर्क रहने की अपील की। उन्होंने कहा, “हमने 4 भेड़ियों को पकड़ा है, 2 बचे हैं। हमारी टीम लगातार गश्त कर रही है, हम उन्हें जल्द से जल्द पकड़ने की पूरी कोशिश कर रहे हैं। मैं लोगों से घर के अंदर सोने का अनुरोध करती हूं। एक 2.5 साल के बच्चे पर भेड़िये ने हमला किया है। मैं यहां के लोगों से सतर्क रहने का अनुरोध करती हूं।”
इससे पहले रविवार को मुख्य वन संरक्षक (मध्य क्षेत्र) रेणु सिंह ने ‘ऑपरेशन भेड़िया’ की समीक्षा की। सिंह ने एएनआई को बताया, “ड्रोन लगातार उड़ाए जा रहे हैं। अब तक चार भेड़िये पकड़े गए हैं और दो अभी भी बचे हैं। हमारी टीमें लगातार गश्त कर रही हैं और हम उन्हें जल्द से जल्द पकड़ने की कोशिश कर रहे हैं।”
अधिकारियों ने इससे पहले ड्रोन के ज़रिए बचे हुए दो भेड़ियों को देखे जाने की पुष्टि की थी और जल्द ही उन्हें पकड़ने की योजना की रूपरेखा बताई थी। बहराइच डिवीजन के सीओ फॉरेस्ट अभिषेक सिंह ने कहा, “हमारी पूरी टीम डीएफओ के मार्गदर्शन में यहां आने वाली है। हमने ड्रोन के ज़रिए भेड़ियों की मौजूदगी का पता लगाया है। दोनों भेड़ियों को इस इलाके में ट्रेस किया गया है। हम उन्हें पकड़ लेंगे।”
ग्रामीणों की सुरक्षा के लिए वन विभाग ने सिसैया चूड़ामणि गांव में जाल बिछा दिया है, जहां चौथा भेड़िया पकड़ा गया था। हाल ही में हुए हमलों के मद्देनजर भेड़ियों को रिहायशी इलाकों में आने से रोकने के लिए रात में पटाखे जलाए जा रहे हैं।